"नाम" नागेश जय गुरुदेव (दीपक बापू)

सोमवार, 4 अप्रैल 2016

मुझे हें काम इश्वर से जग रूठे तो रूठन दे..

मुझे हें काम इश्वर से जग रूठे तो रूठन दे..


मुझे हें काम इश्वर से जग रूठे तो रूठन दे..

कुटुंब परिवार सुतदारा ,
माल धन लाज लोकन की,
हरी के भजन में अगर छूटे तो छुटन दे....
मुझे हें काम इश्वर से जग रूठे तो रूठन दे..

बैठ संगत में संतन की,
करू कल्याण में अपना,
लोक दुनिया के भोगो में मोज लुटे तो लुटन दे..
मुझे हें काम इश्वर से जग रूठे तो रूठन दे..

प्रभु के ध्यान करने की,
लगी दिल में लगन मेरे,
प्रीत संसार विषयो से अगर टूटे तो टूटन दे...
मुझे हें काम इश्वर से जग रूठे तो रूठन दे..

धरी शिर पाप की मटकी,
मेरे गुरुदेव ने झटकी ,
वो ब्रह्मानंद ने पटकी अगर फूटे तो फुटन दे.
मुझे हें काम इश्वर से जग रूठे तो रूठन दे..

भूल चुक माफ़ करजो...


Saint Nagesh Sharma  સંત નાગેશ    संत नागेश 

कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें

Please inform direct to admin if things are not proper